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- दवाई लेने के तरीके जिसे नजर अंदाज तो नही करते......सेहत से बड़ी कोई दौलत नही होती.........?
Posted by : achhiduniya
16 June 2016
मौसम के बदलते ही चाहे बच्चे हो या बड़े-बुढ़े सभी पर इसका प्रभाव पड़ता है कुछ पर आंषिक तो कुछ पर सम्पूर्ण तरीके से फिर शुरू होता है दवा लेने का सिलसिला जिसे कभी भी नजर अंदाज नही करना चाहिए। प्राय: सभी दवा भोजन के बाद ही लेने की सलाह दी जाती है, लेकिन कुछ दवाएं ऐसे भी हैं जिन्हें भोजन के पहले यानी खाली पेट लेने पर ही उनका असर होता है। आमतौर पर टेबलेट या कैप्सूल पानी के साथ ही लेने होते हैं, लेकिन कुछ ड्रग्स ऐसे भी हैं जिन्हें दूध के साथ लेना जरूरी है। हो सकता है डॉक्टर ने नुस्खे में जो दवाएं आपको लिखी हों, उनमें कुछ पानी से और और कुछ दूध से लेने की हों। कुछ दवाएं दिन में एक बार, कुछ दो बार सुबह शाम, कुछ दिन में तीन बार, सुबह, दोपहर और शाम को लेनी होती है। इसी प्रकार कुछ दवाओं की टेबलेट या केप्सूल एक साथ दो भी लेने की सलाह दी जा सकती है। कुछ दवाएं जिनमें तनाव दूर करने या नींद लाने का गुण होता है, रात को सोते समय लेने को कहा जाता है। जो दवा जब सुझाई गई है उसे तभी लेना चाहिए।
कुछ दवाएं ऐसी भी होती हैं जिन्हें डॉक्टर भोजन के आधे से एक घंटे पहले लेने को कहते हैं ताकि अमाशय सुचारू रूप से काम कर सके। कुछ दवाएं फ्रीज में रखनी होती है ताकि उनका तापमान न बढे। शेष सभी दवाएं सामान्य तापमान पर रखी जा सकती हैं। कुछ दवाएं ऐसी हैं जिनका निर्धारित डोज या मात्रा लेना जरूरी है, उससे कम या अधिक नहीं जैसे, डायबिटीज की दवाएं इसका कम या अधिक डोज नुकसानदायक हो सकता है। ब्लड प्रेशर के रोगियों को 24 घंटे में एक गोली लेने से ही काम चल जाता है लेकिन उसका भी एक नियत समय होना चाहिए अन्यथा उसका असर समाप्त हो जाता है और ब्लड प्रेशर बढ़ने लगता है। इसी तरह हृदयरोगियों को भी डॉक्टर द्वारा सुझाई गई दवाएं ताउम्र लेना पड़ सकती है। इन दवाओं को समय पर और निर्धारित मात्रा में लेना जरूरी है। किसी भी टेबलेट को पीसकर या चूरा करके नहीं लेना चाहिए अन्यथा वह तुरंत शरीर में घुल जाएगी और उसका असर लंबे समय तक नहीं रहेगा। कुछ दवाएं ऐसी होती हैं शरीर में धीरे-धीरे घुलती हैं ताकि उनका असर चौबीस घंटे तक बना रहे।
इसी प्रकार, केप्सूल को खोलकर नहीं लेना चाहिए। यदि डॉक्टर ने आपको सिरप लिखा है तो उसे हिलाकर लें ताकि उसके तत्व मिल जाएं। बिना हिलाएं लेने से उसके ठोस पदार्थ नीचे बैठ जाते हैं। कुछ दवाएं खासतौर पर आंख, नाक, कान में डालने वाले ड्राप्स को खोलने के बाद एक सप्ताह तक ही इस्तेमाल करना चाहिए। ऐसा नहीं कि उसकी एक्सपायरी डेट में समय हो तो छह महीने तक उसका इस्तेमाल करें। कुछ दवाएं, खासतौर पर एंटीबायोटिक का पूरा कोर्स लेना जरूरी होता है। आमतौर पर डॉक्टर पांच दिन की दवाएं देते हैं। यदि दवाई खत्म हो गई हो तो डॉक्टर की सलाह के बाद ही उसे बंद करे अपनी मर्जी से नही यह आपकी सेहत का मामला है सेहत से बड़ी कोई दौलत नही होती।