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- क्या है गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स {जीएसटी} और आम जनता के लिए कितना लाभकारी....?
Posted by : achhiduniya
12 July 2016
वस्तु और सेवा कर-गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स कानून देश भर में विनिर्माण, वस्तुओं व सेवाओं की बिक्री और
उपभोग पर लगने वाला एक अप्रत्यक्ष कर होगा। सरकार ने इस कानून का मॉडल ड्राफ्ट
तैयार कर लिया है। यह केंद्र और राज्य सरकारों द्वारा लगाए जाने वाले विभिन्न
टैक्स की जगह लेगा। जीएसटी एक सेंट्रलाइज (केंद्रीकृत) टैक्स है।अभी कंपनी और
कारोबारी बड़े पैमाने पर इनडायरेक्ट टैक्स चुकाते हैं, जिसमें
वैट, सर्विस टैक्स, इंटरटेनमेंट टैक्स,
चुंगी और लग्जरी टैक्स आदि शामिल होते हैं। इन सबकी जगह अब जीएसटी
के तौर पर एक टैक्स देना होगा। इससे पूरा देश एक बाजार बन जाएगा। जीएसटी के लागू
होने के बाद ये सभी टैक्स खत्म हो जाएंगे। जीएसटी लागू होने पर कंपनियों का झंझट
और खर्च भी कम होगा। व्यापारियों को सामान एक जगह से दूसरी जगह ले जाने में कोई
दिक्कत नहीं होगी।
अलग-अलग टैक्स नहीं चुकाना पड़ेगा तो सामान बनाने की लागत घटेगी, इससे सामान सस्ता होने की उम्मीद भी है। जीएसटी लागू होने पर सबसे ज्यादा फायदा आम आदमी को है। क्योंकि तब चीजें पूरे देश में एक ही रेट पर मिलेंगी, चाहे किसी भी राज्य से खरीदें। मसलन दिल्ली से सटे नोएडा, गुड़गांव वाले, जो कभी गाड़ी यूपी से लेते हैं, कभी हरियाणा या कभी दिल्ली से, जहां भी सस्ती मिल जाए वो सब चक्कर ही खत्म हो जाएगा। हम लोग अभी सामान खरीदते वक्त उस पर 30-35 फीसदी टैक्स के रूप में चुकाते हैं। जीएसटी लागू होने के बाद ये टैक्स घटकर 20-25 फीसदी रहने की उम्मीद है।वित्त मंत्री अरुण जेटली ने राज्यों के वित्त मंत्रियों के साथ बैठक की जिसके बाद इस मानसून सत्र में जीएसटी पास होने की पूरी उम्मीद है।नया कानून बन गया तो हर सामान और हर सेवा पर सिर्फ एक टैक्स लगेगा यानी वैट, एक्साइज और सर्विस टैक्स की जगह एक ही टैक्स लगेगा। अगर यह मान लिया जाए कि जीएसटी विधेयक इसी साल पारित हो जाएगा, तो भी 1 अप्रैल, 2017 से पहले इसके अमल में आने की संभावना नहीं है।
अलग-अलग टैक्स नहीं चुकाना पड़ेगा तो सामान बनाने की लागत घटेगी, इससे सामान सस्ता होने की उम्मीद भी है। जीएसटी लागू होने पर सबसे ज्यादा फायदा आम आदमी को है। क्योंकि तब चीजें पूरे देश में एक ही रेट पर मिलेंगी, चाहे किसी भी राज्य से खरीदें। मसलन दिल्ली से सटे नोएडा, गुड़गांव वाले, जो कभी गाड़ी यूपी से लेते हैं, कभी हरियाणा या कभी दिल्ली से, जहां भी सस्ती मिल जाए वो सब चक्कर ही खत्म हो जाएगा। हम लोग अभी सामान खरीदते वक्त उस पर 30-35 फीसदी टैक्स के रूप में चुकाते हैं। जीएसटी लागू होने के बाद ये टैक्स घटकर 20-25 फीसदी रहने की उम्मीद है।वित्त मंत्री अरुण जेटली ने राज्यों के वित्त मंत्रियों के साथ बैठक की जिसके बाद इस मानसून सत्र में जीएसटी पास होने की पूरी उम्मीद है।नया कानून बन गया तो हर सामान और हर सेवा पर सिर्फ एक टैक्स लगेगा यानी वैट, एक्साइज और सर्विस टैक्स की जगह एक ही टैक्स लगेगा। अगर यह मान लिया जाए कि जीएसटी विधेयक इसी साल पारित हो जाएगा, तो भी 1 अप्रैल, 2017 से पहले इसके अमल में आने की संभावना नहीं है।