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ई-वॉलेट या प्री-पेड इंस्ट्रमेंट जारी करने वाली कंपनी की लापरवाही से होने वाले फ्रॉड का पूरा पैसा वापस मिलेगा...RBI
Posted by : achhiduniya
05 January 2019
भारतीय रिजर्व बैंक की नई गाइड लाइन के मुताबिक अगर किसी ग्राहक
के साथ कंपनी की लापरवाही से फ्रॉड होता है तो उसके नुकसान के भुगतान की पूरी राशि
वपास दी जाएगी। नई गाइड लाइन के मुताबिक अगर ई-वॉलेट या प्री-पेड इंस्ट्रमेंट
जारी करने वाली कंपनी की लापरवाही से कोई फ्रॉड होता है। तो ग्राहक इसके लिए जिम्मेदार
नहीं होगा। इसी तरह अगर थर्ड पार्टी एजेंसी की गलती से ग्राहक को किसी भी तरह का
नुकसान होता है तो भी ग्राहक को नुकसान की पूरी राशि दी जाएगी। रिजर्व बैंक ने
ई-वॉलेट से होने वाले फ्रॉड को रोकने के लिए कमर कस ली है।
फ्रॉड की जानकारी मिलने
के ग्राहक को तीन दिनों के अंदर इसकी शिकायत ई-वॉलेट कंपनी से करनी होगी। तीन दिन
के अंदर शिकायत करने पर ग्राहक को पूरी भरपाई की जाएगी। अगर शिकायत 4 से सात दिन के अंदर की जाती है तो नुकसान की
असली रकम या फिर अधिकतम दस हजार रुपये में से जो भी कम होगा वही दिया जाएगा। अगर 7 दिन के बाद ग्राहक शिकायत दर्ज़ कराता है तो
ई-वॉलेट कंपनी की इस मामले पर जो पॉलिसी होगी उसी के हिसाब से भरपाई की जाएगी।
रिजर्व
बैंक ने इसी के साथ यह भी साफ कर दिया है अगर ग्राहक की गलती से गलत सौदा किया
जाता है तो इसके लिए थर्ड पार्टी की कोई जिम्मेदारी नहीं होगी और इसकी पूरी जिम्मेदारी
ग्राहक की होगी। ग्राहक की लापरवाही के कारण फ्रॉड हुआ है इसके बारे में ई-वॉलेट
कंपनी को साबित करना होगा। रिजर्व बैंक ने ये भी प्रावधान किया है कि अगर कोई
ई-वॉलेट कंपनी चाहे तो ग्राहक की गलती होने के बावजूद भी उसे भरपाई कर सकती है।


