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भारतीय बैंकों में ऑनलाइन 65,017 फ्रॉड के मामले सामने से OTP Scam ऑनलाइन ट्रांजेक्शन फ्रॉड रोकने सरकार हुई हाई अलर्ट....
Posted by : achhiduniya
24 April 2024
RBI की रिपोर्ट की मानें तो पिछले वित्त वर्ष 2023 में भारत में 302.5 बिलियन यानी 30 हजार करोड़ रुपये से
ज्यादा के बैंक फ्रॉड रिकॉर्ड किए गए हैं। हालांकि, यह वित्त वर्ष 2021 के 1.3 ट्रिलियन रुपये के
मुकाबले काफी कम है। पिछले एक दशक की बात करें तो 1 जून 2014 से लेकर 31 मार्च 2023 तक भारतीय बैंकों में 65,017 फ्रॉड के मामले सामने आए
हैं,
जिसकी
वजह से 4.69 लाख करोड़ रुपये है। साइबर क्रिमिनल्स UPI स्कैम, क्रेडिट कार्ड स्कैम, OTP स्कैम, नौकरी के नाम पर स्कैम, डिलीवरी स्कैम आदि के
जरिए लोगों को चूना लगा रहे हैं। भारत में तेजी से बढ़ रहे ऑनलाइन फ्रॉड को देखते
हुए सरकार ने बड़ी तैयारी कर ली है। गृह मंत्रालय ने
SBI कार्ड्स एंड पेमेंट
सर्विसेज और टेलीकॉम ऑपरेटर्स के साथ मिलकर फुलप्रूफ प्लान बनाने का फैसला किया
है। ये सभी स्टेकहोल्डर्स OTP Scam के जरिए बैंकिंग सेक्टर
पर होने वाले साइबर अटैक पर लगाम लगाएंगे। सूत्रों की मानें तो इसके लिए तैयार किए
गए सॉल्यूशन की फिलहाल टेस्टिंग की जा रही है। यह सॉल्यूशन बैंकिंग सिस्टम में
ग्राहकों के रजिस्टर्ड अड्रेस के लोकेशन और OTP डिलीवर होने के लोकेशन
के आधार पर स्कैम की पहचान करेगा।
यह सॉल्यूशन न सिर्फ ग्राहकों को फिशिंग का अलर्ट भेजेगा,बल्कि पहले भेजे हुए OTP को ब्लॉक करने का भी काम करेगा। इसकी वजह से अगर साइबर अपराधियों के हाथ पेमेंट करने के लिए OTP प्राप्त भी हो जाएगा, तो भी वो फ्रॉड नहीं कर पाएंगे। उदाहरण के तौर पर अगर कोई ग्राहक दिल्ली में है और उसका OTP बेंगलुरू में डिलीवर हुआ तो यह सॉल्यूशन अलर्ट भेज देगा और OTP को ब्लॉक कर देगा। इंडियन साइबर क्राइम कोओर्डिनेशन सेंटर (i4C)की रिपोर्ट के मुताबिक, साइबर अपराधी अप्रैल 2021 से लेकर दिसंबर 2023 के बीच 10,319 करोड़ रुपये का OTP फ्रॉड कर चुके हैं। इनमें से ज्यादातर फ्रॉड का लोकेशन चीन, कम्बोडिया और मयंमार रहा है।
सरकार द्वारा OTP स्कैम पर लगाम लगाने के लिए जिस सॉल्यूशन पर काम किया
जा रहा है वो बैंक अकाउंट होल्डर्स के रियल टाइम लोकेशन के आधार पर फिशिंग के लिए
अलर्ट जारी करेगा। इससे रिमोट लोकेशन से किए जाने वाले फ्रॉड की पहचान की जा
सकेगी। इस सॉल्यूशन के लिए SBI कार्ड और टेलीकॉम कंपनियों के
साथ साझेदारी की गई है। खाता धारकों के रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर के रियल टाइम लोकेशन
को यह सॉल्यूशन डिटेक्ट कर लेगा। जैसे ही ग्राहकों के डिवाइस की लोकेशन और OTP प्राप्त होने के लोकेशन
में कोई अंतर होगा, तो तुरंत ग्राहकों को फिशिंग अलर्ट मिलेगा, जिसकी वजह से होने वाले
साइबर फ्रॉड को रोका जा सकेगा।