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- कुछ बेडरूम की बाते........?
Posted by : achhiduniya
16 June 2015
आदि काल से कामवासना,सेक्स एक रहस्य
का विषय रहा है वह उस अग्नि की तरह है जिसे जितना बुझाने का प्रयास किया जाए उतनी ही
आग और तेज होती जाती है यानी जिज्ञासा और बड़ती जाती है। इस कामवासना को प्रकर्ती के
उत्पति का भी कारक माना गया है।जिस प्रकार एक फैक्ट्री मे किसी वस्तु को बनाने के लिए
मनुष्य के जरूरत अनुसार उत्पादन करने के लिए लगाया जाता है।
उसी प्रकार श्रष्टी ने
शादी के रूप मे दो अलग-अलग प्रकर्ती के जीवो को एक सूत्र मे पिरोकर सर्जन करने के उद्देश्य
से निर्माण किया है। यह बात और है की आज इसको गलत तरीके से देखा जाता है। शास्त्रो
मे इसे अनेकों कलाओ के दवारा दर्शाया गया है आइए इन्हे जानने का प्रयास करते है। संभोग काल की आठ श्रेणियां
मानी गई हैं और इन सभी आठ श्रेणियों के आठ-आठ भेद हैं, जिस कारण मैथुन 64 कलाओं की क्रिया है।जिसे 64 आसान भी कहते है।
कुछ कलाए जो अक्सर देखी व की जाती है आलिंगन, चुंबन, नाखून से नोंचना, दांत से काटना, संभोग के समय पुरुष द्वारा लिंग
का नारी की योनि में प्रवेश, संभोग के समय सी-सी की आवाज
करना, स्त्री द्वारा विपरीत रति
अर्थात संभोग के समय स्त्री का ऊपर होना, आप्राकृति जैसे मुख व गुदा
मैथुन यह तो
एक साधारण क्रिया है। जब भी आपको अपने जीवन साथी से मिलने की यानी संभोग की इच्छा हो
तो पुरुष किसी बहाने स्त्री के
शरीर से अपना शरीर स्पर्श करा दे। एकांत मिलते ही पुरुष स्त्री को दीवार या खंभे
के सहारे टिकाकर गले लगा ले प्रेम हो जाने के बाद खड़े-खड़े आलिंगन कर ले।
अंधकार, भीड़ या एकान्त में मौका मिलते
ही स्त्री-पुरुष का अधिक समय तक एक-दूसरे के सीने से चिपटना से भी प्यार का इझहार किया जा सकता है। स्त्री पुरुष में से कोई एक
या दोनों दूसरे की एक या दोनों जांघों को अपनी जांघ के बीच पूरी शक्ति से दबाए यह क्रिया एकांत मे याने बेडरूम
मे करनी चाहिए। स्त्री एकान्त में हलके
से अपना स्तन पुरुष के शरीर से सटा दे। स्त्री पुरुष की गोद में बैठ जाए या लेट
जाए। उस समय सुध-बुध खोकर दोनों एक-दूसरे में इस तरह समा जाएं कि होश ही न रहे और सेक्स का पूर्ण आनंद लेने
का प्रयास करे। स्त्री अपने स्तनों से
पुरुष के सीने को मसल दे।
ऐसा लगे जैसे वह पुरुष के सीने से एकाकार होना चाहती है।
फिर धीरे-धीरे वह उसके ऊपर चढ़ जाए ताकि पुरुष को उत्तेजित कर सके। दोनों अपने होंठ व जीभ को एक-दूसरे के मुंह में डालकर सुध-बुध खो दे। पेड़ की
लता के समान स्त्री पुरुष से लिपट कर चुंबन के लिए उसका चेहरा नीचे झुकाए। इसके
बाद स्त्री पुरुष की बाहों में झूलते हुए उसे ऐसे देखे जैसे उसकी सुन्दरता निहार
रही हो। स्त्री एक पैर पुरुष के पैर पर
रखे एवं दूसरे से उसकी जांघ को लपेट ले। उस दौरान उसका एक हाथ पुरुष की पीठ पर हो
और दूसरे हाथ से कंधे को झुकाती हुई पुरुष को चूमने का प्रयास करे।

स्त्री पुरुष
के जांघ को अपनी जांघ से दबाती हुई, उसके शरीर में नाखून व दांत
गड़ाए और उसे चूमते हुए उसके ऊपर चढ़ जाए। याद रखे कोई भी अप्राक्तिक सेक्स बिलकुल ना करे अक्सर
जो ब्लू फिल्मों मे दिखाया जाता है। वह पूरी तरह से एक सोची समझी क्रिया होती है जो
साधारणत्या संभव नही होती उसे करके आप अपने असली जीवन का आनंद नही ले पाएंगे।